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EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं और यह मशीन कैसे काम करती है | GK In Hindi General Knowledge

EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं और यह मशीन कैसे काम करती है | GK In Hindi General Knowledge : जब भी चुनाव आते हैं तो EVM मशीनों की चर्चा जरूर होती है, कई लोगों को ईवीएम की विश्वसनीयता पर संदेह होता है और कई लोग दावा करते हैं कि ईवीएम हैक प्रूफ हैं ! ऐसे में यह जानना दिलचस्प है कि बेहद कड़ी सुरक्षा में रखी जाने वाली यह ईवीएम मशीन क्या है और यह कैसे काम करती है ! क्या इसमें गड़बड़ी की संभावना है या यह सिर्फ एक प्रचार है ! साथ ही, अनियमितताओं की आशंका को रोकने के लिए अपनाए गए उपायों की क्या और कितनी विश्वसनीयता है !

EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं और यह मशीन कैसे काम करती है | GK In Hindi General Knowledge

EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं

EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं

1990 के दशक में भारत के कई क्षेत्रों में बूथ कैप्चरिंग और फर्जी वोटिंग जैसी समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) का उपयोग करने का निर्णय लिया गया, जिसका उपयोग आज भारत में संसदीय से लेकर स्थानीय निकाय जैसे नगरपालिका चुनाव तक में किया जाता है ! इसमें लाया जाता है इसमें एक व्यक्ति केवल एक ही वोट डाल सकता है, जिससे वोट अमान्य होने की संभावना खत्म हो जाती है !

GK In Hindi कैसे शुरू हुई EVM की कहानी

वर्ष 1980, एम.बी.हनीफा ने पहली वोटिंग मशीन बनाई थी ! इस समय इसका नाम इलेक्ट्रॉनिकली ऑपरेटेड वोट काउंटिंग मशीन रखा गया !

इसका मूल डिज़ाइन तमिलनाडु के 6 शहरों में आयोजित सरकारी प्रदर्शनी में आम लोगों को दिखाया गया था ! ईवीएम का प्रयोग पहली बार 1982 में केरल के उत्तरी परवूर में हुए उपचुनाव में किया गया था !

शुरुआती दिनों में EVM के इस्तेमाल को लेकर चुनाव आयोग को काफी विरोध का सामना करना पड़ा था ! साल 1998 में 16 विधानसभाओं में ईवीएम का इस्तेमाल हुआ था !

इसके बाद 1999 में इसका विस्तार किया गया और 46 लोकसभा सीटों पर इनका इस्तेमाल किया गया ! साल 2004 में लोकसभा चुनाव में सभी सीटों पर ईवीएम का इस्तेमाल किया गया था !

General Knowledge EVM कैसे काम करती है

EVM की दो इकाइयाँ होती हैं – नियंत्रण और मतपत्र ! यानी एक यूनिट जिस पर आप बटन दबाकर अपना वोट डालते हैं और दूसरी यूनिट जिसमें आपका वोट जमा होता है !

कंट्रोल यूनिट मतदान अधिकारी के पास होती है, जबकि बैलेट यूनिट दूसरी तरफ रखी जाती है ! जहां से लोग अपना वोट डाल सकते हैं !

बैलेट यूनिट पर आपको विभिन्न पार्टियों के चुनाव चिन्ह और उम्मीदवारों के नाम दिए जाते हैं, जिसके बगल में एक नीला बटन होता है ! इन बटनों को दबाकर आप अपना वोट डालें ! कंट्रोल यूनिट पर बैलेट अंकित एक बटन होता है, जिसे दबाने के बाद दूसरा मतदाता अपना वोट डाल सकता है !

GK In Hindi General Knowledge EVM में वोट कितने समय तक सुरक्षित रहते हैं और यह मशीन कैसे काम करती है

हालांकि, इसमें कौन सी चिप या प्रोसेसर का इस्तेमाल किया गया है, इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है ! EVM का उपयोग करने के लिए बिजली की आवश्यकता नहीं होती है !

ईवीएम 7.5-वोल्ट क्षारीय पावर पैक यानी बैटरी के साथ आता है ! जिसकी आपूर्ति भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड और इलेक्ट्रॉनिक्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड द्वारा की जाती है !

EVM के पुराने मॉडल में 3840 वोट स्टोर किए जा सकते थे ! हालाँकि, इसके नए संस्करण में केवल 2000 वोट ही संग्रहीत हैं ! ईवीएम में संग्रहीत डेटा को 10 साल या उससे अधिक समय तक सुरक्षित रखा जा सकता है ! ईवीएम की एक यूनिट की कीमत लगभग 8,670 रुपये है पहले ये कीमत और भी कम थी !

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About the author

Vishal Hariyale

नमस्ते! मेरा नाम विशाल हरियाले है। मुझे लेखन के क्षेत्र में 4 साल का अनुभव है | पिछले 4 साल से विभिन्न वेबसाइट पर अपनी सेवाएं दे रहा हु | मै पर्सनल फाइनेंस, बिज़नेस से सम्बंधित आर्टिकल्स लिखता हु |
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